भाई की चिठ्ठी – एकांत श्रीवास्तव
हर पंक्ति जैसे फूलों की क्यारी है जिसमें छुपे काँटों को वह नहीं जानता वह नहीं जानता कि दो शब्दों के बीच भयंकर साँपों की…
8 years पूर्व
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हर पंक्ति जैसे फूलों की क्यारी है जिसमें छुपे काँटों को वह नहीं जानता वह नहीं जानता कि दो शब्दों के बीच भयंकर साँपों की…